छत्तीसगढ़

कोयला खदान हादसे में चार लोगों की मौत, एक घायल का इलाज जारी

छत्तीसगढ़। कोरबा में एसईसीएल की दीपका कोयला खदान में बड़ा हादसा हो गया। जहां कोयला साइकिल में कोयला चोरी करने पांच लोग गए हुए थे कोयला निकलते समय पांचों दब गए। घटना उस समय हुई जब मिट्टी धसक कर उनके ऊपर आ गिरी।

कोरबा में एसईसीएल की दीपका कोयला खदान में हुए हादसे में घायल चौथे शख्स की भी इलाज के दौरान मौत हो गई। हादसे में अब तक चार लोगों की मौत हुई है। 18 वर्षीय प्रदीप पोर्ते, 23 वर्षीय शत्रुघ्न कश्यप, 17 वर्षीय लक्ष्मण ओढ़े की मौत हुई है जबकि अमित सरोता का उपचार जारी है।

इससे पहले एसईसीएल की दीपका कोयला खदान में हुए हादसे के बाद रेस्क्यू कर मलबे में दबे दो युवकों को बाहर निकाला गया। मृतक 18 वर्षीय प्रदीप पोर्ते और 23 वर्षीय शत्रुघ्न कश्यप की लाश मिली थी। ग्रामीण सगाई सिंगर मुख्य मार्ग पर चक्का जाम कर दिया है। ग्रामीणों की मांग है कि मृतक के परिवार का मुआवजा और पुलिस के साथ में झड़प के बाद घायल हुई महिलाओं का इलाज कराया जाए।

वहीं तीसरा 17 वर्षीय लक्ष्मण ओढ़े खदान नीचे गहराई में घायल गिरा मिला। तड़के सुबह उसे भी खदान नीचे रेस्क्यू कर बाहर निकाला। घटना स्थल पर रात भर रेस्क्यू करते समय जिला प्रशासन की टीम मौजूद रही। यहां एसपी, कलेक्टर समेत अधिकारी कर्मचारी डटे रहे।

वहीं बताया जा रहा है कि घटना हरदीबाजार थाना अंतर्गत दीपका खदान के सुवाभोडी गांव की है जहाँ खदान से लगे बम्हनी कोना निवासी पांच युवक सायकल से कोयला लेने दोपहर 3 बजे गए हुए थे। प्रदीप कमारों 18 वर्षीय ,लक्ष्मण ओढ़े 17 वर्षीय ,सत्रुधन कश्यप 27 वर्षीय एक खदान गए और कोयला चोरी कर रहे थे इस दौरान अचानक से मिट्टी का एक बड़ा हिस्सा उनके ऊपर गिरा गया।दो व्यक्ति अमित सरूता 17 वर्षीय और लक्ष्मण मरकाम का कमर में चोट आया है दोनों किसी तरह जान बचा कर बाहर निकले और इसकी जानकारी ग्रामीणों को दी गई इसके बाद इलाके में हड़कप मच गया।घायलों को प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र हरदी बाजार में भर्ती किया गया।

घायल अमित कुमार ने बताया कि पांचो एक ही गांव के रहने वाले हैं और कोयला लेने आए हुए थे। लक्ष्मण और वह किसी तरह बाहर निकले हैं लक्ष्मण के कमर में चोट आई है। स्थानीय लोगों की माने तो घटना गुरुवार दोपहर 3:00 बजे की है। लेकिन एसईसीएल प्रबंधन का कोई भी जवाबदार अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचा जिससे ग्रामीणों में भारी आक्रोश है।

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