अपनी आत्मा को चैतन्य करने के लिये माँ गुरुवर की साधना करना भी अत्यन्त आवश्यक होता है: शिव बहादुर सिंह

डेस्क न्यूज। आप किसी से भी मिलिये और बात कीजिये, ज्यादातर लोग तमाम तरह की समस्याओं से ग्रस्त हैं। बड़ी से बड़ी बीमारियों से जूझ रहे हैं। लोग आर्थिक समस्याओं से काफी परेशान हैं। ऐसे में लोगों से बोलिये कि क्या आप माँ गुरुवर की नियमित साधना (पूजा पाठ ) कर रहें हैं तो लोगों का जबाब होता है कि भैया परेशानी में हमारा पूजा पाठ में मन नही लगता है। यहीं पर हम बड़ी गलती कर बैठते हैं कि जिस कार्य को करने से हमारी समस्याओं का समाधान मिलेगा ,उस पर हम विराम लगा देते हैं।
यहां पर हमें इस बात को बड़ी गम्भीरता से समझना होगा कि हमें कष्ट क्यूँ भोगने पड़ते हैं क्यूँकि पिछले जन्मों के बुरे कर्मों के फल को हमें इस जन्म में भोगना पड़ता है, इसलिये हमारे वर्तमान जीवन में मुश्किलों का सामना करना पड़ता है ,अतः सबसे पहली बात ये है हमें अपने कर्मों पर निगाह रखना होगा कि कोई भी हमसे बुरा कर्म ना हो जाय। उसके उपरान्त हमें पिछले कर्मों के कारण जो हमारे आत्मा पर आवरण पड़ चुके हैं, जिसके कारण हम आज परेशान हैं ,उस आवरण को धीरे-धीरे हटाना भी तो होगा। जब हम प्रतिदिन माँ गुरुवर की साधना करेंगे तो हमारी आत्मा पर पड़ा हुआ आवरण हटने लगेगा और हमारे जीवन में खुशियों का प्रवेश होना प्रारम्भ हो जाएगा। किसी भी सूरत में कितनी भी परेशानी हो ,हमें नियमित साधना पूजा पाठ करना ही होगा।
आपके समक्ष एक उदाहरण प्रस्तुत करना चाहूँगा कि जब हमारे कमरे में काफी समय से कोई ट्यूब लाइट जल रही होती है तो कुछ समय बाद उस पर कालिख जम जाती है। उसी तरह हमारे बुरे कर्मों के कारण हमारी आत्मा पर कालिख जम जाती है। उस कालिख को हटाने का एक मात्र साधन ये है कि हम लोग नियमित गुरुदेव जी द्वारा निर्देशित मार्ग का पालन करें।जब हम किन्हीं भी परिस्थितयों में माँ गुरुवर की साधना करने लगेंगे तो हमारा पूरा जीवन आनन्द से भर उठेगा और जीवन की तमाम परेशानियों से छुटकारा मिलने लगेगा।
आज आप देखिये ज्यादातर लोग अनाप-शनाप के कार्योँ में लिप्त हैं। जब आप माँ गुरुवर की साधना करेंगे तो आपका विवेक जागृत होने लगेगा और आपको सत्य और असत्य का भेद मालूम होने लगेगा। अभी हम लोग एक छोटी सी समस्या आते ही घबराने लगते हैं ,जब आप नियमित साधना करेंगे तो बड़ी से बड़ी समस्याओं से भी रंच मात्र भी विचलित नही होंगे बल्कि आप उसका डटकर सामना करने लगेंगे। माँ गुरुवर जी की साधना से आत्म शक्ति की प्राप्ति होती है और हमें अपने विकारों को नष्ट करने की शक्ति मिलती है। अतः हर हाल में निःसंकोच माँ की साधना करते रहिये।